फरीदाबाद: हरियाणा के फरीदाबाद की एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) टीम ने मंगलवार को नूंह की BDPO पूजा शर्मा को गिरफ्तार कर लिया। पूजा के साथ हीरालाल नामक ठेकेदार को भी गिरफ्तार किया गया है। पूजा 2020 में कोरोना काल के दौरान नूंह के पुन्हाना में BDPO थी।
पूजा ने गांव मुजेड़ी में बिना विकास कार्य किए कार्यवाहक सरपंच ब्रह्मपाल, ग्राम सचिव जोगेन्द्र के साथ मिलकर नकली बिल लगाकर 22 करोड़ रूपए का गबन किया था। जिसमें से 17 करोड़ 14 लाख रुपए की अदायगी विभिन्न फर्मों (द डिजाइन कोड एसके इंटरप्राइजिज, एके इंटरप्राइजिज, साईं ट्रेडिंग कंपनी, फरहान इंटरप्राइजिज, राध्य बिल्डिंग मटीरियल सप्लायर एंड कॉन्ट्रैक्टर, साकिर बिल्डिंग मटीरियल सप्लायर एंड कॉन्ट्रैक्टर, हीरालाल, रसिक बिहारी प्राइवेट लिमिटेड आदि) को की गई। साल 2023 में मामला एंटी करप्शन ब्यूरो को जांच के लिए सौंप दिया था। ACB की जांच के दौरान इन सभी फर्म मालिकों के खातों में 28 करोड़ रूपए का भुगतान पाया गया। ये भुगतान फर्जी विकास कार्य दिखाकर किया गया था। विभाग ने पंचायत के खाते को सील करवा दिया गया। लेकिन पूजा शर्मा ने अपने स्तर पर पंचायत के खाते को फिर से चालू करवा लिया था। जांच में ये भी सामने आया की पूजा शर्मा ने फर्म रसिक बिहारी इंफ्राटेक एंड कन्स्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड को भुगतान करने की एवज में 9 लाख रुपए रिश्वत भी ली।
पेड़ पौधों के नाम पर 43 लाख की धोखाधड़ी
एसीबी अधिकारियों के मुताबिक, आरोपी ठेकेदार हीरालाल ने बीडीपीओ और तत्कालीन मुजैड़ी के सरपंच के साथ मिलीभगत करके नवंबर 2020 में गांव में पेड़ पौधों को लगाने के नाम पर करीब 43 लाख रुपए की धोखाधड़ी की थी। जबकि नवंबर-दिसंबर में पेड़ पौधे नहीं लगाए जा सकते। इन पेड़ पौधों काे लगाने का बिल जून 2021 के बाद के पाए गए थे।