चंडीगढ़: हरियाणा पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर ने मधुबन में आयोजित दो दिवसीय हाई लेवल मीटिंग में प्रदेशभर के सीनियर ऑफिसर के साथ लॉ एंड ऑर्डर से जुड़े मुद्दों की विस्तृत समीक्षा की। इस दौरान उन्होंने अपराध नियंत्रण, जन सुरक्षा और जनसेवा को लेकर कई अहम दिशा-निर्देश जारी किए और कहा कि पुलिसिंग का मूल उद्देश्य जनता को न्यायसंगत, पारदर्शी और प्रभावी सेवाएं उपलब्ध कराना है। मीटिंग में डीजीपी ने फील्ड से मिले फीडबैक के बाद फैसला लिया कि पुलिस आने वाले 15 दिनों तक सूदखोरों के खिलाफ अभियान चलाएगी। इसको लेकर उन्होंने जिलों के पुलिस अधिकारियों को प्लानिंग कर कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
दबाव डालकर प्रॉपर्टी अपने नाम करा रहे
मीटिंग की अध्यक्षता करते हुए डीजीपी कपूर ने सबसे पहले सूदखोरी की अमानवीय प्रथा पर कठोर रुख अपनाने की वकालत की। उन्होंने कहा, हरियाणा पुलिस प्रदेशभर में सूदखोरों के अत्याचार के खिलाफ 15 दिन का विशेष अभियान चलाएगी। इस दौरान ऐसे सभी अत्याचारी सूदखोरों की पहचान कर उन पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी। ये वे लोग हैं जो जरूरतमंदों को ऊंची ब्याज दरों पर कर्ज दे कर और ब्याज वसूली के नाम पर शोषण, धमकी और दबाव डालते हैं। ये लोग गरीब और असहाय लोगों की संपत्ति तक हड़प लेते हैं।
सूदखोरों के प्रॉपर्टीज अटैच के ऑर्डर
डीजीपी ने मीटिंग में कहा, यह न केवल समाज की आर्थिक व्यवस्था के लिए खतरनाक है, बल्कि मानव गरिमा पर भी गंभीर आघात है। उन्होंने आगे कहा कि ऐसे सूदखोरों की अवैध कमाई और संपत्ति को भी नियमानुसार अटैच किया जाए और अधिकारियों को निर्देश दिया कि अभियान को जनहित से जोड़ते हुए लोगों को जागरूक करें, ताकि कोई भी आम नागरिक ऐसे सूदखोरों के जाल में न फंसे।