हरियाणा में आज (3 सितंबर) सुबह से पानीपत, सोनीपत, करनाल और अंबाला में रुक-रुककर बारिश हो रही है। झज्जर में भी बूंदाबांदी हुई। मौसम विज्ञान विभाग (IMD) चंडीगढ़ ने 4 जिलों महेंद्रगढ़, रेवाड़ी, मेवात और पलवल में ऑरेंज अलर्ट जारी किया हैं। बाकी जिलों में भी हल्की बारिश की संभावना है। यमुनानगर स्थित यमुना के हथिनीकुंड बैराज पर सुबह 7 बजे 1 लाख 63 हजार 994 क्यूसेक दर्ज किया गया। बैराज के फ्लड गेट 63 घंटे से खुले हैं। आज झज्जर, हिसार के हांसी ब्लॉक के साथ 30 स्कूल, यमुनानगर के छछरौली ब्लॉक, कुरुक्षेत्र के पिहोवा व शाहाबाद ब्लॉक और फतेहाबाद के टोहाना, जाखल व भूना ब्लॉक के सभी स्कूल बंद रहेंगे। वहीं पंचकूला के मोरनी ब्लॉक के सभी स्कूल बंद रहेंगे, जबकि बरवाला ब्लॉक के 44, पिंजौर के 92 और रायपुररानी के 16 स्कूलों में छुट्टी रहेगी। अंबाला में भी सभी स्कूल बंद हैं।
प्रदेश में नदियों की क्या स्थिति…
यमुना: हथिनीकुंड बैराज से छोड़े पानी के बाद यमुना के आसपास के इलाकों में हाईअलर्ट है। हथिनीकुंड बैराज पर बुधवार सुबह 7 बजे 1 लाख 63 हजार 994 क्यूसेक दर्ज किया गया। पानी लगातार दिल्ली की तरफ छोड़ा जा रहा है।
घग्गर: पंचकूला में घग्गर नदी का जलस्तर 9000 क्यूसेक दर्ज किया गया है। खतरे का निशान 25000 पर है।
मारकंडा: नदी करीब 30 हजार क्यूसेक पानी बहा रही है। पानी कुरुक्षेत्र रिहायशी इलाकों में भी घुसना शुरू हो गया है। गांव कठवा का संपर्क शहर से कई दिनों से कटा हुआ है। गांव तंगौर, अरूप नगर, पाडलु और मदनपुर में भी कई सौ एकड़ फसलें बहते पानी से नष्ट हो गई हैं। ग्रामीणों की मानें तो नदी से अब तक कुल 13 से 14 हजार एकड़ में खड़ी धान और गन्ने की फसलें नष्ट हो चुकी हैं।
टांगरी: नदी का जलस्तर 11 हजार क्यूसेक है। अभी यह खतरे के निशान से नीचे है, लेकिन बारिश अधिक हुई तो यह जलस्तर बढ़ सकता है। अंबाला की 6 कॉलोनियों में 2 से 3 फीट तक पानी जमा है। गाद नाले की पाइप लाइन में पहुंचकर जम गई है।
बारिश से प्रभावित टॉप जिलों का हाल
अंबाला: मंगलवार देर रात से बरसात चल रही है। सड़कों पर जलभराव होने की वजह से कई स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी गई। बुधवार को सुबह अभिभावकों के मोबाइल पर स्कूलों की तरफ छुट्टी के मैसेज आए। अंबाला सिटी के सेंट पॉल स्कूल में हाफ ईयरली एग्जाम रद्द करने का मैसेज अभिभावकों के पास आया। अंबाला सिटी में सड़कों पर जलभराव होने से जनजीवन पर असर पड़ रहा है।
हिसार: अब तक 7 ड्रेनें टूट चुकी हैं और कुछ और टूटने के कगार पर हैं। 180 गांव पानी में डूब गए हैं। लोगों ने खुद ही मिट्टी के बांध बनाकर पानी रोकने की कोशिश की है, लेकिन निचले स्थानों पर बने मकान पूरी तरह पानी में डूब गए हैं। लोग ट्रैक्टरों पर चढ़कर गली व मोहल्लों को पार कर रहे हैं। जरूरी सामान लेने घर से बाहर जाना हो तो ट्रैक्टर पर ही जाना पड़ता है। मंत्री रणबीर गंगवा की ससुराल आर्यनगर में भी घुटनों तक पानी खड़ा है।
भिवानी: समाण-धमाना ड्रेन, बजीना माइनर, भुरटाना माइनर, बास मल्टीपर्पस ड्रेन टूटने से 7600 एकड़ भूमि जलमग्न हो गई। गांवों के सार्वजनिक स्थल और स्कूल बरसाती पानी में डूब गए हैं। खेतों में 4 से 5 फीट तक पानी जमा है। जिले में 25 से ज्यादा गांवों में जलभराव है। भिवानी हांसी मुख्य मार्ग पर मिल्क प्लांट भी डूब गया है।
कुरुक्षेत्र: शाहाबाद मारकंडा में पानी की मात्रा 29778 क्यूसेक दर्ज की गई है। हालांकि, 25 हजार क्यूसेक बहाव खतरे का निशान माना जाता है। अभी तक जलभराव से शाहाबाद, पिहोवा, इस्माईलाबाद के 18 गांव प्रभावित हैं। कलसाना गांव का पावन हाउस पानी में डूब गया। पट्टी जामड़ा के करीब 200 लोगों को परमार्कंडेश्वर मंदिर में शिफ्ट किया गया है। शाहबाद और पिहोवा ब्लॉक के शिक्षण संस्थान अगले आदेश तक बंद हैं।